सिरोही, 18 फरवरी। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कहा कि देश की प्राचीन संस्कृति, सभ्यता और परम्परा संरक्षण में आदिवासियों का अमूल्य योगदान है। शिक्षा, चिकित्सा और प्रशासन सहित हर क्षेत्र में प्रदेश ने चहुंमुखी प्रगति की है। प्रदेश के विकास में आदिवासी समाज की बराबर हिस्सेदारी रही है।
उन्होंने कहा कि राज्य सरकार ने भी बांसवाड़ा, डूंगरपुर, उदयपुर और प्रतापगढ़ जैसे आदिवासी बाहुल्य जिलों के विकास में कोई कमी नहीं रखी है।
मुख्यमंत्री शनिवार को सिरोही के शिवगंज स्थित ग्राम चोटिला में आयोजित मारवाड़ मीणा समाज महासम्मेलन को संबोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने कहा कि श्री गौतम ऋषि मंदिर के पदाधिकारियों द्वारा बारिश के दिनों में मंदिर तक श्रद्धालुओं के पहुंचने के लिए पोसालिया नदी पर पुल निर्माण कराने, सुमेरपुर में आवासीय विद्यालय खोलने, सामूहिक वनाधिकार प्रकरणों सहित अन्य मांगों का अध्ययन कराकर शीघ्र पूरा कराया जाएगा।
गहलोत ने कहा कि जनजाति विकास कोष की राशि को भी 100 करोड़ रुपए से बढ़ाकर 500 करोड़ रुपए किया गया है। इससे क्षेत्र के सर्वांगीण विकास की संकल्पना पूरी होगी। इससे रोजगारोन्मुखी गतिविधियों के साथ ही कृषि, शिक्षा, सामाजिक सुरक्षा, आधारभूत संरचना सहित अन्य कार्य कराए जाएंगे। उन्होंने कहा कि जोधपुर संभाग में एसटी वर्ग के सर्वांगीण विकास हेतु मारवाड़ जनजाति विकास बोर्ड का गठन किया गया है।
मुख्यमंत्री श्री गौतम ऋषि मंदिर पहुंचे। यहां उन्होंने पूजा-अर्चना कर प्रदेश की खुशहाली के लिए कामना की।